
Shardiya Navrartri 2024 Date : नवरात्र में देवभोग............
Shardiya Navrartri 2024 Date : बिलासपुर : प्रदेश के प्रसिद्ध शक्तिपीठ मां महामाया मंदिर में इस बार देवभोग घी से मनोकामना ज्योतिकलश प्रज्जवलित होंगे। तिरुपति में विवादित घी के बखेड़े के बाद छत्तीसगढ़ के शक्तिपीठ इसे लेकर सतर्क हो गए हैं।
शासन ने भी इसके लिए सर्कुलर जारी कर कलेक्टरों को निर्देशित किया है। जिसके बाद अब इसपर अमल करने की कवायद शुरू हो गई है।
बिलासपुर के प्रसिद्ध शक्तिपीठ रतनपुर मां महामाया मंदिर समिति ने आगामी नवरात्र में देवभोग घी से मनोकामना ज्योतिकलश प्रज्जवलित करने और प्रसाद बनाने का निर्णय लिया है। देखिए ये रिपोर्ट..
दरअसल, आगामी दिनों में शारदीय नवरात्र की शुरुवात होनी है। ऐसे में प्रदेशभर के तमाम प्रमुख प्रसिद्ध शक्तिपीठों के साथ मंदिरों में आस्था के दीप जगमगाएंगे और मनोकामना ज्योतिकलश प्रज्जवलित होंगे।
जिसे लेकर इस बार सरकार और मंदिर समितियां खास सतर्कता बरतने जा रही हैं। तिरुपति में बीते दिनों विवादित घी को लेकर हुए बखेड़े को देखते हुए खास तौर पर घी की शुद्धता और प्रामाणिकता पर फोकस है।
Shardiya Navrartri 2024 Date
सरकार ने ऐसे किसी भी विवाद से बचने सभी शक्तिपीठों में देवभोग घी के इस्तेमाल करने का सर्कुलर जारी किया है। इसके लिए सभी कलेक्टरों को निर्देशित किया गया है
और शक्तिपीठ व मंदिर समितियों से संपर्क करने कहा गया है। सरकार के इस निर्देश के बाद इसपर अमल करने जमीनी स्तर पर इसकी कवायद शुरू हो गई है।
सूबे के प्रसिद्ध शक्तिपीठ मां महामाया मंदिर रतनपुर ट्रस्ट ने देवभोग घी से मनोकामना ज्योतिकलश प्रज्वलित करने और प्रसाद बनाने का निर्णय लिया है।
मां महामाया मंदिर में करीब 25 से 30 हजार मनोकामना ज्योतिकलश नवरात्र में प्रज्जवलित होते हैं। जिनमें 600 टीन से अधिक घी का उपयोग होता है।
ऐसे में मंदिर समिति शुद्धता और प्रमाणिकता को देखते हुए ज्योतिकलश और प्रसाद में देवभोग के घी का इस्तेमाल करेगी।
बहरहाल, घी के शुद्धता और प्रमाणिकता को लेकर छिड़े विवाद के बीच प्रदेश के शक्तिपीठों और मंदिरों में देवभोग के घी का इस्तेमाल होने जा रहा है। ताकि, यहां घी को लेकर कोई बखेड़ा खड़ा न हो।