रायपुर: आगामी नगरीय निकाय चुनाव 2025 में पहली बार M2 ईवीएम मशीन का उपयोग किया जाएगा। इसी को लेकर मतदाताओं और मीडियाकर्मियों को जागरूक करने के लिए जिला निर्वाचन अधिकारी द्वारा कार्यशाला का आयोजन किया गया। यह कार्यशाला कलेक्टोरेट सभा कक्ष में आयोजित की गई, जिसमें जिले के मास्टर ट्रेनर और जिला निर्वाचन अधिकारी ने M2 ईवीएम मशीन की कार्यप्रणाली और मतदान प्रक्रिया की जानकारी दी।
M2 ईवीएम मशीन की विशेषताएं और मतदान प्रक्रिया
पहली बार M2 ईवीएम मशीन का उपयोग नगरीय निकाय चुनाव में हो रहा है।
विधानसभा और लोकसभा चुनाव में M3 ईवीएम का उपयोग किया गया था, लेकिन इस बार M2 ईवीएम से मतदान होगा।
बैलेट यूनिट में अध्यक्ष और पार्षद दोनों के लिए वोटिंग का विकल्प दिया गया है।
मतदाता पहले अध्यक्ष के लिए बटन दबाएगा, जिससे हल्की बीप की आवाज आएगी, फिर पार्षद के लिए बटन दबाने पर लंबी बीप सुनाई देगी और मतदान प्रक्रिया पूरी होगी।
यदि मतदाता अध्यक्ष को वोट देना चाहता है लेकिन पार्षद को नहीं, तो उसके लिए भी अलग विकल्प मौजूद रहेगा।
मतदान केंद्रों और ईवीएम की व्यवस्था
छत्तीसगढ़ के 6 नगरीय निकायों में कुल 144 मतदान केंद्र बनाए गए हैं।
404 बैलेट यूनिट और 202 कंट्रोल यूनिट का उपयोग किया जाएगा।
50% बैलेट यूनिट और 35% कंट्रोल यूनिट को रिजर्व में रखा गया है।
प्रत्येक बैलेट यूनिट में 16 बटन होंगे, जिनमें से 11 बटन मतदाता के उपयोग के लिए होंगे।
मतदान प्रक्रिया में अधिकारियों की भूमिका
मतदान अधिकारी क्रमांक 1: मतदाता की पहचान सत्यापित करेगा।
मतदान अधिकारी क्रमांक 2: मतदाता की प्रविष्टि और हस्ताक्षर दर्ज करेगा।
मतदान अधिकारी क्रमांक 3: कंट्रोल यूनिट पर बैलेट बटन दबाकर मत जारी करेगा।
M2 ईवीएम का पिछला उपयोग
M2 ईवीएम का उपयोग पहले 2014 के चुनाव में भी किया गया था।
नगरीय निकाय चुनाव में इसका नया उपयोग इसे अधिक प्रभावी और पारदर्शी बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
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