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तेल की कीमतों में गिरावट : सऊदी अरब ने क्रूड ऑयल की कीमतों को घटाने का निर्णय लिया है, जिसका असर वैश्विक तेल बाजार पर पड़ा है। इस कदम के बाद भारत में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कमी आने की संभावना जताई जा रही है। जानिए, इस बदलाव से भारतीय उपभोक्ताओं पर क्या असर पड़ेगा और पेट्रोल-डीजल की कीमतें कब तक सस्ती हो सकती हैं।
सऊदी अरब का फैसला और उसकी वैश्विक प्रभाव:
- सऊदी अरब, जो दुनिया का सबसे बड़ा तेल निर्यातक देश है, ने हाल ही में क्रूड ऑयल की कीमतों में कटौती का ऐलान किया।
- सऊदी अरब का यह कदम ओपेक (OPEC) के साथ मिलकर उत्पादन में कटौती के बाद आया है, जिसका उद्देश्य वैश्विक तेल आपूर्ति को नियंत्रित करना और कीमतों को स्थिर करना है।
- इस कटौती का असर वैश्विक तेल बाजार पर पड़ा है, जिससे क्रूड ऑयल की कीमतों में गिरावट आई है।
भारत में पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर असर:
- सऊदी अरब के इस कदम से वैश्विक क्रूड ऑयल की कीमतों में गिरावट होने से भारत में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में भी कमी की संभावना है।
- भारत में तेल की कीमतें मुख्य रूप से वैश्विक क्रूड ऑयल की कीमतों और रुपये की मुद्रा की स्थिति पर निर्भर करती हैं। अगर क्रूड ऑयल की कीमतें और कम होती हैं, तो पेट्रोल-डीजल की कीमतों में कमी आ सकती है।
लेटेस्ट रेट्स और भविष्य में क्या हो सकता है:
- पेट्रोल और डीजल के वर्तमान रेट्स भारत में राज्यवार अलग-अलग होते हैं, लेकिन यदि क्रूड ऑयल की कीमतों में और गिरावट आती है, तो पेट्रोल-डीजल की कीमतों में 20-30 पैसे प्रति लीटर की कमी हो सकती है।
- हालांकि, कीमतों में बदलाव सरकार की टैक्स नीतियों और राज्य सरकारों द्वारा तय किए गए वैट दरों पर भी निर्भर करेगा।
- भारत में कीमतों में कमी की संभावना होने के बावजूद, उपभोक्ताओं को राहत मिलने में कुछ वक्त लग सकता है, क्योंकि तेल कंपनियां कीमतों में बदलाव धीरे-धीरे करती हैं।
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