
Balrampur News निर्लज्ज ड्राइवर की शर्मनाक करतूत, लाश से भी पैसो की डिमांड
बलरामपुर। सरकारी एम्बुलेंस सेवा का उद्देश्य लोगों को नि:शुल्क चिकित्सा सहायता प्रदान करना होता है, लेकिन एक शर्मनाक घटना ने इस सेवा की विश्वसनीयता को गंभीर रूप से ठेस पहुंचाई है। “मुक्तांजलि” नामक सरकारी शव वाहन के ड्राइवर ने मृतक अर्जुन पण्डो के परिवार से शव को घर पहुंचाने के लिए पैसे की मांग की, जो कि सरकारी एम्बुलेंस सेवा की निंदा करने योग्य है।
21 नवम्बर को सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल अर्जुन पण्डो को पहले प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सलवाही और फिर बेहतर इलाज के लिए अम्बिकापुर अस्पताल भेजा गया, जहां 22 नवम्बर को उनकी मृत्यु हो गई। अगले दिन, 23 नवम्बर को शव को पोस्टमार्टम के बाद सरकारी एम्बुलेंस से पण्डो परिवार के घर भेजा गया।
अस्पताल ने शव के साथ नि:शुल्क एम्बुलेंस सेवा प्रदान की थी, लेकिन जब शव घर पहुंचा, तो मुक्तांजलि एम्बुलेंस के ड्राइवर राहुल वर्मा ने पण्डो परिवार से 1000 रुपये किराया मांग लिया। परिजनों ने एम्बुलेंस की नि:शुल्क सेवा का हवाला दिया, तो ड्राइवर गुस्से में आ गया और शव को वाहन से उतारने के लिए पैसों की मांग की।
यह घटना न केवल परिवार के लिए मानसिक तनाव का कारण बनी, बल्कि यह सरकारी सेवा की अव्यवस्थाओं और भ्रष्टाचार को भी उजागर करती है। पण्डो परिवार ने इस घटना के खिलाफ संभागायुक्त से शिकायत कर सख्त कार्रवाई की मांग की है, ताकि ऐसे घटनाक्रमों की पुनरावृत्ति न हो।
इस घटना ने यह सवाल उठाया है कि क्या सरकारी सेवाओं का उद्देश्य लोगों को सहायता देने के बजाय अब उनका शोषण करना बन गया है?
Discover more from ASIAN NEWS BHARAT - Voice of People
Subscribe to get the latest posts sent to your email.