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फोन पर फजीहत : शादी में जाना है घर टाइम टेबल बता दें सर
रायपुर। फोन पर फजीहत : पं. रविशंकर शुक्ल विवि में स्नातक फर्स्ट ईयर तथा स्नातकोत्तर की जयादातर कक्षाओं का टाइम टेबल जारी हो चुका है। बीए एलएलबी और बीएड की समय सारिणी अभी तक जारी नहीं हो सकी है। ऐसे में छात्रों ने अब फोन पर ही फजीहत करना शुरू कर दिया है। बार -बार विद्यार्थी फोन कर के यही रिक्वेस्ट कर रहे हैं कि उन्हें शादी में घर जाना है। उनको टाइम टेबल बता दिया जाए।
फोन पर फजीहत : जानिए आखिर कैसे
पं. रविशंकर शुक्ल विवि प्रबंधन अब तक बीएड और बीएएलएलबी की समय-सारिणी जारी नहीं कर पाया है। तो वहीं स्नातक प्रथम वर्ष सहित स्नातकोत्तर स्तर की अधिकतर कक्षाओं की समय-सारिणी घोषित की जा चुकी है। समय-सारिणी जारी नहीं होने के कारण छात्र तथा महाविद्यालयों ने विश्व विद्यालय प्रशासन से फोन कर जानकारी मांग रहे हैं । कई विद्यार्थियों ने तो इसके लिए अजीब-ओ -गरीब कारण भी बताए हैं। अब शादियों का सीजन होने के नाते कई विद्यार्थी फोन करके कह रहे हैं कि उन्हें शादी में जाना है, इसलिए उन्हें जल्द ही समय-सारिणी बता दें।
एक ही सत्र में दो बार टाइम टेबल
दरसाल स्नातक स्तर पर रविवि को मौजूदा सत्र में दो बार समय-सारिणी जारी करनी पड़ रही है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू होने के बाद प्रथम वर्ष की परीक्षाएं सेमेस्टर स्तर पर हो रही हैं। इसके कारण प्रथम वर्ष के विद्यार्थियों के लिए सेमेस्टर आधारित समय-सारिणी जारी की गई है। वहीं द्वितीय और तृतीय वर्ष के विद्यार्थियों के लिए रविवि द्वारा मार्च-अप्रैल से वार्षिक पैटर्न पर परीक्षाएं ली जाएंगी। इसके लिए टाइम-टेबल जनवरी अंत तक अथवा फरवरी माह में जारी होंगे।
3 जनवरी से पीजी के पर्चे
वहीं दूसरी ओर स्नातकोत्तर कक्षाओं की सेमेस्टर परीक्षाएं 3 जनवरी से प्रारंभ होंगी। रविवि द्वारा इसके लिए दिसंबर माह में समय-सारिणी जारी की गई थी। परीक्षा फॉर्म सहित अन्य तरह की औपचारिकताएं भी पूर्व में ही पूर्ण कर ली गई थीं। परीक्षा केंद्र निर्धारण सहित प्रवेश पत्र वितरण और अन्य तैयारियां रविवि पहले ही कर चुका है।
एक माह पढ़ाई के बाद परीक्षाएं
प्रदेश के बीएड महाविद्यालयों में इस बार भी प्रवेश प्रक्रिया देर तक चली। दिसंबर अंत तक विद्यार्थियों को प्रवेश दिए गए हैं। बीएड की परीक्षाएं भी सेमेस्टर आधार पर ही होती हैं। जिन विद्यार्थियों को प्रवेश दिसंबर माह में मिला है, उन्हें मात्र एक माह की पढ़ाई के बाद ही परीक्षाएं दिलानी होंगी। एससीईआरटी द्वारा प्रतिवर्ष देर तक काउंसिलिंग किए जाने के कारण यह स्थिति निर्मित होती है। सीटें रिक्त होने के चलते भी एससीईआरटी को प्रवेश तारीखें कई बार बढ़ानी पड़ी। इसका असर भी काउंसिलिंग पर दिखा।
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