Russia-Ukraine War: यूक्रेन के साथ जारी संघर्ष के दौरान रूसी सशस्त्र बलों में सेवा करते हुए कम से कम 12 भारतीय नागरिकों की मौत हो चुकी है। विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। मंत्रालय ने बताया कि अभी भी 18 भारतीय नागरिक रूसी सेना में कार्यरत हैं, जिनमें से 16 का ठिकाना अब तक पता नहीं चल पाया है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, “रूसी सेना में कार्यरत भारतीय नागरिकों के 126 मामले हमारे सामने आए हैं। इनमें से 96 भारतीय नागरिक वापस भारत लौट चुके हैं और उन्हें रूसी सशस्त्र बलों से छुट्टी दे दी गई है।” उन्होंने आगे बताया कि रूसी सेना में काम कर रहे 18 भारतीयों में से 16 को “लापता” की श्रेणी में रखा गया है। उन्होंने कहा, “हम इन लापता नागरिकों की जल्द रिहाई और स्वदेश वापसी की मांग कर रहे हैं।”
केरल के युवक की मौत पर शोक
इस सप्ताह की शुरुआत में यह जानकारी मिली कि अग्रिम मोर्चे पर तैनात केरल के त्रिशूर जिले के वडक्कनचेरी निवासी 32 वर्षीय बिनिल टी. बी. की मौत हो गई। वहीं, उनके रिश्तेदार जैन टी. के. (27) गंभीर रूप से घायल हुए हैं।
विदेश मंत्रालय ने बिनिल की मौत पर शोक व्यक्त किया और कहा, “बिनिल बाबू की मौत बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। हमने उनके परिवार के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की है। हमारा दूतावास रूसी अधिकारियों के संपर्क में है, ताकि उनका पार्थिव शरीर जल्द भारत वापस लाया जा सके। वहीं, घायल जैन का मॉस्को में इलाज चल रहा है और उनके जल्द भारत लौटने की उम्मीद है।”
भारतीयों की जल्द रिहाई की मांग
बिनिल और जैन उन कई भारतीय युवाओं में शामिल थे, जो अप्रैल में रूस की सैन्य सहायता सेवा में इलेक्ट्रीशियन, रसोइया, प्लंबर और ड्राइवर के रूप में काम करने गए थे।
विदेश मंत्रालय ने इस मामले को मॉस्को के अधिकारियों और नई दिल्ली में रूसी दूतावास के समक्ष गंभीरता से उठाया है। प्रवक्ता ने कहा, “हमने शेष भारतीय नागरिकों की जल्द रिहाई और स्वदेश वापसी की मांग दोहराई है।”
भारतीय सरकार इस मामले में लगातार रूसी अधिकारियों से संपर्क बनाए हुए है और स्थिति पर नजर रखे हुए है।
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