
MP News: चित्रकूट में महाशिवरात्रि पर पहली बार हुआ शाही स्नान, साधु-संतों ने निकाली भव्य शोभायात्रा...
चित्रकूट। MP News: महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर चित्रकूट के साधु-संतों ने मंदाकिनी नदी के रामघाट पर ऐतिहासिक शाही स्नान किया। यह आयोजन प्रयागराज महाकुंभ की तर्ज पर किया गया, जिसमें हजारों श्रद्धालु और संत महात्मा शामिल हुए।
शाही स्नान से पहले भव्य शोभायात्रा
शाही स्नान से पूर्व चित्रकूट विरक्त संत मंडल के आह्वान पर ग्रामोदय विश्वविद्यालय से रामघाट तक एक भव्य शोभायात्रा निकाली गई। शोभायात्रा में हाथी, घोड़े, बैंड-बाजे और अखाड़ों के संतों की टोली शामिल रही। स्थानीय लोगों ने जगह-जगह फूल बरसाकर इस भव्य आयोजन का स्वागत किया।
MP News: चित्रकूट में शाही स्नान की परंपरा क्यों शुरू हुई?
संत मदन गोपाल दास ने बताया कि महाकुंभ के दौरान यह चर्चा हुई कि सभी तीर्थ प्रयागराज में आकर स्नान करते हैं, लेकिन चित्रकूट कभी प्रयागराज नहीं जाता। इसी विचार के साथ संतों ने निर्णय लिया कि चित्रकूट में ही एक भव्य शाही स्नान आयोजित कर इसे आध्यात्मिक केंद्र के रूप में स्थापित किया जाए।
उन्होंने कहा कि राजिम कुंभ की तरह अन्य स्थानों पर भी इस प्रकार के आयोजन हो रहे हैं और चित्रकूट में मंदाकिनी, पयस्विनी और सरयू नदियों का संगम है, जो इसे एक पवित्र तीर्थ बनाता है। इस नई परंपरा से दुनिया को संदेश देने का प्रयास किया जा रहा है कि चित्रकूट भी अपने धार्मिक और आध्यात्मिक महत्व को स्थापित कर रहा है।
नए संकल्प के साथ संत समाज का संदेश
संत सनकादिक जी महाराज ने कहा कि मंदाकिनी नदी में शाही स्नान एक नई आध्यात्मिक परंपरा की शुरुआत है। उन्होंने इसे सनातन संस्कृति की रक्षा और धार्मिक परंपराओं को सुदृढ़ करने का माध्यम बताया।
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