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MP News : उज्जैन। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने उज्जैन जिले के उन्हेल कस्बे के मंडी प्रांगण से इंगोरिया-उन्हेल 2-लेन मार्ग सहित 133 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाओं का भूमि-पूजन और लोकार्पण किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि आजादी के बाद सबसे अधिक विकास करने वाला कस्बा उन्हेल है, और यह क्षेत्र अब समृद्धि की नई ऊंचाइयों को छू रहा है।
MP News : सोयाबीन का कटोरा
मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश को ‘सोयाबीन का कटोरा’ बनाने में पूर्व मुख्यमंत्रियों उमा भारती, बाबूलाल गौर, शिवराज सिंह चौहान और उनकी सरकार का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। उन्होंने बिजली आपूर्ति में सुधार के जरिए किसानों की जिंदगी बदलने की बात कही। सीएम ने घोषणा की कि लाडली बहना योजना की राशि अगले दो-चार दिनों में लाभार्थियों के खातों में पहुंच जाएगी। साथ ही, किसान सम्मान निधि को किसानों की मेहनत का सम्मान बताते हुए इसे उनके माथे का तिलक करार दिया।
MP News : किसानों के लिए राहत और भावांतर योजना
डॉ. यादव ने कहा कि सरकार किसानों के हित में प्रतिबद्ध है। सोयाबीन की फसल कटने से पहले ही कई जिलों में राहत राशि वितरण शुरू कर दिया गया है। मंडी में किसानों की फसल का उचित मूल्य सुनिश्चित किया जाएगा, और जो फसल मंडी में नहीं बिकेगी, उसका भुगतान भावांतर योजना के तहत सीधे किसानों के खातों में पहुंचाया जाएगा। उन्होंने खेत में मेहनत करने वाले किसान और सीमा पर तैनात जवान, दोनों के सम्मान को सरकार की प्राथमिकता बताया।
MP News : सांस्कृतिक और धार्मिक पहल
मुख्यमंत्री ने घोषणा की कि गोवर्धन जयंती को प्रदेश में धूमधाम से मनाया जाएगा। राम वन गमन पथ और चित्रकूट धाम को और भव्य बनाने के लिए सरकार कटिबद्ध है। साथ ही, भगवान श्रीकृष्ण और सुदामा की मित्रता को प्रेरणा मानते हुए श्रीकृष्ण पाथेय परियोजना को बढ़ावा दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि 15 अक्टूबर को ओरछा में 100 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं का लोकार्पण और भूमि-पूजन किया जाएगा।
MP News : विकास कार्यों की नई सौगात
सीएम ने कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं। उन्हेल के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र को उन्नत कर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बनाया जाएगा। साथ ही, रामगढ़ से बिहारिया तक एक नया पुल बनाया जाएगा। इन परियोजनाओं से क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवाओं और कनेक्टिविटी में सुधार होगा।
मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में सनातन संस्कृति और गौरवशाली अतीत का उल्लेख करते हुए कहा कि भगवान श्रीकृष्ण ने सुदामा की मदद बिना प्रदर्शन के की, जो हमारी संस्कृति का प्रतीक है। इस आयोजन में स्थानीय जनप्रतिनिधि, अधिकारी और बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे।