
Black Money
Black Money: नई दिल्ली: काला धन लंबे समय से भारत में एक जटिल मुद्दा रहा है। हाल ही में संसद में यह मुद्दा फिर से चर्चा में आया, जब उत्तर प्रदेश से समाजवादी पार्टी के सांसद जावेद अली खान ने स्विस बैंकों में भारतीयों की जमा राशि और काले धन की वापसी के बारे में सवाल उठाए। वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने राज्यसभा में लिखित जवाब में सरकार की कार्रवाइयों और उपलब्धियों का ब्योरा दिया।
Black Money: स्विस बैंकों में भारतीय धन: तथ्य और स्पष्टीकरण
सांसद जावेद अली खान ने पूछा कि क्या स्विस नेशनल बैंक (एसएनबी) के आंकड़ों के अनुसार, 2024 में स्विस बैंकों में भारतीयों की जमा राशि तीन गुना से अधिक बढ़कर 3.5 बिलियन स्विस फ्रैंक (लगभग 37,600 करोड़ रुपये) हो गई है, जो 2021 के बाद का उच्चतम स्तर है। इसके जवाब में सरकार ने बताया कि कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में इस वृद्धि का उल्लेख किया गया है। हालांकि, स्विस अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि एसएनबी के आंकड़ों में ग्राहकों की जमा राशि, बैंकों की देनदारियां, और स्विस बैंकों की विदेशी शाखाओं की राशि शामिल होती है। इसलिए, इन आंकड़ों को केवल भारतीय नागरिकों की जमा राशि के विश्लेषण के लिए उपयोग नहीं किया जाना चाहिए।
Black Money: स्विट्जरलैंड और अन्य देशों से सूचना साझा
सरकार ने बताया कि स्विट्जरलैंड 2018 से ऑटोमैटिक एक्सचेंज ऑफ इन्फॉर्मेशन (AEOI) ढांचे के तहत भारतीय नागरिकों की वित्तीय जानकारी साझा कर रहा है। पहला डेटा ट्रांसमिशन सितंबर 2019 में हुआ था और यह प्रक्रिया तब से निरंतर जारी है। इसके अलावा, भारत 100 से अधिक विदेशी कर क्षेत्राधिकारों से विदेशी संपत्तियों और आय की जानकारी प्राप्त करता है। इस जानकारी के आधार पर, टैक्स चोरी के मामलों में उचित कार्रवाई की जाती है, जिसमें तलाशी, सर्वेक्षण, पूछताछ, आय का आकलन, कर और जुर्माना लगाना, और आपराधिक अदालतों में अभियोजन शिकायतें दर्ज करना शामिल है।
Black Money: ब्लैक मनी एक्ट 2015: कार्रवाइयां और परिणाम
काला धन (अघोषित विदेशी आय और संपत्ति) और कर अधिरोपण अधिनियम, 2015 (Black Money Act, BMA) 1 जुलाई 2015 से लागू हुआ। इस कानून के तहत सरकार ने निम्नलिखित कदम उठाए:
एकमुश्त अनुपालन अवधि (जुलाई-सितंबर 2015): इस दौरान 684 लोगों ने 4,164 करोड़ रुपये की अघोषित विदेशी संपत्तियों का खुलासा किया, जिससे 2,476 करोड़ रुपये कर और जुर्माने के रूप में वसूले गए।
31 मार्च 2025 तक की प्रगति: सरकार ने 1,021 आकलन पूरे किए, 35,105 करोड़ रुपये से अधिक की कर और जुर्माना मांग उठाई, और 163 अभियोजन शिकायतें दर्ज कीं। इस अवधि में 338 करोड़ रुपये कर, जुर्माना और ब्याज के रूप में वसूले गए।
कानूनी प्रक्रिया: कर मांग तब अंतिम रूप लेती है, जब आयकर आयुक्त (अपील), आयकर अपीलीय न्यायाधिकरण (ITAT), उच्च न्यायालय, और सर्वोच्च न्यायालय में अपीलों का निपटारा होता है।